
भारत में आधार कार्ड हर नागरिक के लिए एक अनिवार्य पहचान दस्तावेज है, जो सरकारी योजनाओं का लाभ उठाने और पहचान सत्यापन के लिए जरूरी होता है। इसी तरह, पाकिस्तान में भी नागरिकों के लिए एक महत्वपूर्ण पहचान पत्र मौजूद है, जिसे नेशनल आइडेंटिटी कार्ड (National Identity Card – NIC) कहा जाता है। यह कार्ड पाकिस्तान की नेशनल डेटाबेस एंड रजिस्ट्रेशन अथॉरिटी (NADRA) द्वारा जारी किया जाता है।
भारत में आधार कार्ड और पाकिस्तान में CNIC (NADRA कार्ड) नागरिकों के लिए बेहद जरूरी पहचान दस्तावेज हैं। हालाँकि, दोनों के बीच कई समानताएँ हैं, लेकिन उम्र सीमा, उपयोग और डेटा सुरक्षा को लेकर कुछ महत्वपूर्ण अंतर भी देखे जा सकते हैं।
यह भी देखें: दरवाजे पर अचानक दस्तक! पुलिस ने मांगी 5 जरूरी डिटेल्स, आखिरी 2 सुनकर दहशत में लोग
पाकिस्तान में पहचान पत्र की अनिवार्यता
पाकिस्तान सरकार ने अपने नागरिकों की पहचान सुनिश्चित करने के लिए कंप्यूटराइज्ड नेशनल आइडेंटिटी कार्ड (CNIC) को अनिवार्य कर दिया है। यह कार्ड न केवल पहचान सत्यापन के लिए बल्कि सरकारी योजनाओं का लाभ उठाने, यात्रा करने और अन्य महत्वपूर्ण कामों के लिए भी आवश्यक होता है।
भारत के आधार कार्ड की तरह, पाकिस्तान के इस पहचान पत्र का उपयोग सरकार संदिग्ध गतिविधियों की निगरानी, सरकारी योजनाओं का लाभ देने और नागरिकों के रिकॉर्ड को डिजिटली संग्रहित करने के लिए करती है।
क्या है NADRA?
नेशनल डेटाबेस एंड रजिस्ट्रेशन अथॉरिटी (NADRA) पाकिस्तान की वह संस्था है जो देश के नागरिकों को राष्ट्रीय पहचान पत्र जारी करती है। यह संस्था आधार कार्ड की तरह ही डिजिटल पहचान प्रणाली पर काम करती है और पाकिस्तान के नागरिकों के डेटा को संभालती है।
यह भी देखें: सरकार का नया प्लान! अब 100 से ज्यादा लाइव टीवी चैनल्स बिल्कुल फ्री!
NADRA का मुख्य कार्य पाकिस्तान के नागरिकों की पहचान को डिजिटली संग्रहीत करना और इसे सरकारी सेवाओं से जोड़ना है। इस कार्ड में नागरिकों की पूरी व्यक्तिगत जानकारी दर्ज होती है, जिससे पहचान सत्यापन की प्रक्रिया आसान होती है।
कैसा होता है पाकिस्तान का नेशनल आइडेंटिटी कार्ड (CNIC)?
पाकिस्तान में जारी होने वाला कंप्यूटराइज्ड नेशनल आइडेंटिटी कार्ड (CNIC) एक अत्याधुनिक पहचान पत्र है, जिसमें निम्नलिखित विशेषताएँ होती हैं:
- 13 अंकों का यूनिक नंबर: यह हर नागरिक को एक विशिष्ट पहचान देता है, जिससे उसकी जानकारी डिजिटल रूप से दर्ज की जाती है।
- बायोमेट्रिक डेटा: इसमें नागरिकों के फिंगरप्रिंट और आईरिस स्कैन जैसे बायोमेट्रिक विवरण दर्ज किए जाते हैं।
- फोटो पहचान: इस कार्ड में नागरिक की फोटो भी होती है, जिससे व्यक्तिगत सत्यापन किया जा सकता है।
- डिजिटल डेटाबेस से जुड़ा हुआ: यह कार्ड पाकिस्तान के सरकारी डेटाबेस से जुड़ा होता है, जिससे किसी भी नागरिक की जानकारी एक क्लिक में प्राप्त की जा सकती है।
आधार कार्ड और NADRA कार्ड में समानताएँ और अंतर
हालाँकि भारत का आधार कार्ड और पाकिस्तान का NADRA कार्ड (CNIC) काफी हद तक एक जैसे हैं, लेकिन इनमें कुछ महत्वपूर्ण अंतर भी हैं।
यह भी देखें: Army Agniveer Bharti 2025: इंडियन आर्मी अग्निवीर भर्ती आवेदन प्रक्रिया स्थगित, जानें नई तारीख
समानताएँ
- दोनों कार्ड्स में बायोमेट्रिक डेटा (फिंगरप्रिंट और आईरिस स्कैन) का उपयोग किया जाता है।
- डिजिटल रूप से नागरिकों की पहचान को स्टोर करने के लिए टेक्नोलॉजी का उपयोग किया जाता है।
- सरकारी योजनाओं और सेवाओं का लाभ उठाने के लिए इनकी अनिवार्यता होती है।
मुख्य अंतर
अंतर का आधार | आधार कार्ड (भारत) | CNIC (पाकिस्तान) |
---|---|---|
जारी करने वाली संस्था | UIDAI (Unique Identification Authority of India) | NADRA (National Database and Registration Authority) |
उम्र सीमा | नवजात बच्चों से लेकर हर उम्र के व्यक्ति के लिए | 18 साल से अधिक उम्र वालों के लिए |
पहचान संख्या | 12 अंकों का यूनिक नंबर | 13 अंकों का यूनिक नंबर |
उपयोग | सरकारी योजनाओं, बैंकिंग, मोबाइल नंबर सत्यापन, पासपोर्ट आदि में | पहचान पत्र, सरकारी योजनाएँ, पासपोर्ट, मतदान में |
कार्ड का स्वरूप | डिजिटल और फिजिकल दोनों रूपों में | मुख्य रूप से फिजिकल कार्ड |
पाकिस्तान में CNIC क्यों जरूरी है?
CNIC को पाकिस्तान में कई महत्वपूर्ण कार्यों के लिए आवश्यक माना जाता है। इसके बिना कोई भी सरकारी सुविधा या सेवा प्राप्त करना कठिन होता है। मुख्य रूप से CNIC निम्नलिखित कार्यों के लिए आवश्यक होता है:
- सरकारी योजनाओं और सब्सिडी का लाभ उठाने के लिए
- पासपोर्ट और ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के लिए
- बैंक खाता खोलने और वित्तीय लेनदेन के लिए
- मोबाइल सिम कार्ड लेने के लिए
- संपत्ति खरीदने या बेचने के लिए
यह भी देखें: Majhi Ladki Bahin Yojana: महिला दिवस से पहले बड़ा तोहफा, कल खाते में आएगी 1,500 रुपये की अगली किस्त!
आधार कार्ड और CNIC को लेकर सुरक्षा चिंताएँ
जहाँ एक ओर आधार कार्ड और CNIC नागरिकों की पहचान को मजबूत करने के लिए आवश्यक हैं, वहीं दूसरी ओर डेटा सुरक्षा और गोपनीयता को लेकर चिंताएँ भी बनी रहती हैं।
भारत में आधार डेटा लीक को लेकर कई बार विवाद हुआ है, वहीं पाकिस्तान में भी CNIC से जुड़ी जानकारी की सुरक्षा पर सवाल उठे हैं। डेटा प्राइवेसी को लेकर दोनों देशों की सरकारें समय-समय पर सुरक्षा उपायों को मजबूत करने का प्रयास कर रही हैं।