आधार में ये छोटी सी गलती बना रही राशन कार्डधारियों की मुसीबत! जानें क्या है पूरा मामला?

दिल्ली में राशनकार्ड धारकों के लिए सरकार ने ई-केवाईसी को अनिवार्य कर दिया है। अगर आपने अब तक ये प्रक्रिया पूरी नहीं की, तो आपका राशन बंद हो सकता है! मोबाइल नंबर की समस्या, ऐप की तकनीकी दिक्कतें और कोटाधारकों की नाराजगी इस अभियान को कैसे प्रभावित कर रही हैं, जानिए पूरी रिपोर्ट में

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Written byRohit Kumar

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आधार में ये छोटी सी गलती बना रही राशन कार्डधारियों की मुसीबत! जानें क्या है पूरा मामला?
आधार में ये छोटी सी गलती बना रही राशन कार्डधारियों की मुसीबत! जानें क्या है पूरा मामला?

राजधानी दिल्ली (Delhi) में राशनकार्ड धारकों की ई-केवाईसी (e-KYC) प्रक्रिया को लेकर खाद्य एवं आपूर्ति विभाग ने कमर कस ली है। विभाग की 100 दिवसीय कार्य योजना के तहत इस प्रक्रिया को 31 मार्च तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है। आंकड़ों के मुताबिक दिल्ली के कुल 7277995 राशनकार्ड धारकों का ई-केवाईसी कराना प्रस्तावित है। विभाग तेजी से इस दिशा में काम कर रहा है, लेकिन आधार से पंजीकृत मोबाइल नंबरों में बदलाव इस प्रक्रिया में बड़ी बाधा बनकर सामने आ रहा है।

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‘मेरा केवाईसी’ ऐप से जुड़ी परेशानियां, मोबाइल नंबर बना सबसे बड़ी बाधा

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ई-केवाईसी के लिए सबसे बड़ा अवरोध उन लाभार्थियों के सामने है, जिनका आधार कार्ड (Aadhaar Card) किसी पुराने या अब बंद मोबाइल नंबर से जुड़ा है। चूंकि ई-केवाईसी के लिए जरूरी है कि मोबाइल नंबर आधार से लिंक हो और ओटीपी (OTP) उसी नंबर पर जाए, ऐसे में लाभार्थी ‘मेरा केवाईसी’ ऐप के जरिए ई-केवाईसी नहीं कर पा रहे हैं।

विशेष रूप से उन लोगों को दिक्कत हो रही है जिनके पास स्मार्टफोन (Smartphone) नहीं है या जिन्होंने नया मोबाइल नंबर ले लिया है, लेकिन आधार में अपडेट नहीं कराया है। ऐप सत्यापन के दौरान ओटीपी के अभाव में आगे नहीं बढ़ता, जिससे हजारों कार्डधारियों को आधार केंद्रों के चक्कर काटने पड़ रहे हैं।

राशन डीलरों से पैसे लेने पर सख्त कार्रवाई के निर्देश

इस बीच विभाग ने 21 मार्च को एक अहम आदेश जारी किया है। आदेश में स्पष्ट रूप से कहा गया है कि यदि कोई कोटाधारक (ration dealer) ई-केवाईसी के नाम पर लाभार्थियों से पैसे लेता पाया गया, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। विभाग के सहायक आयुक्त (योजना) द्वारा जारी इस निर्देश में कहा गया है कि ई-केवाईसी की सुविधा पूरी तरह नि:शुल्क (Free) है और इसकी जानकारी आम जनता तक पहुंचाई जाए।

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ई-पॉस मशीनों से हो रहा बायोमेट्रिक सत्यापन

हालांकि, ऐसे राशनकार्ड धारक जो लगातार अपने कोटे की राशन सामग्री खुद जाकर दुकान से उठा रहे हैं, उनका बायोमेट्रिक सत्यापन (Biometric Verification) सीधे ई-पॉस मशीनों (e-POS Machines) के जरिए हो रहा है। इससे उनकी ई-केवाईसी प्रक्रिया पूरी मानी जा रही है। लेकिन जिनका बायोमेट्रिक सत्यापन नहीं हो पा रहा, उन्हें अब जल्द से जल्द ई-केवाईसी प्रक्रिया पूरी करनी होगी ताकि उनका राशन कार्ड रद्द न हो।

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अब तक कितनों की हुई ई-केवाईसी, जानिए आंकड़े

खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के अनुसार, 18 मार्च तक ‘मेरा केवाईसी’ ऐप के जरिए 299965 लाभार्थियों की पहचान सत्यापित की जा चुकी है। वहीं अन्य माध्यमों से 1768878 लोगों ने ई-केवाईसी के लिए आवेदन किया है, जो अभी प्रक्रिया में है।

अगर जिलावार बात करें तो:

  • सेंट्रल जिला: 138655 आवेदन
  • पूर्वी जिला: 130472 आवेदन
  • नई दिल्ली जिला: 93269 आवेदन
  • उत्तरी जिला: 152377 आवेदन
  • उत्तर-पूर्वी जिला: 284207 आवेदन
  • उत्तर-पश्चिमी जिला: 344459 आवेदन
  • दक्षिणी जिला: 189834 आवेदन
  • दक्षिण-पश्चिमी जिला: 218904 आवेदन
  • पश्चिमी जिला: 216700 आवेदन

20 मार्च तक कुल 2012668 लाभार्थियों ने ई-केवाईसी के लिए आवेदन कर दिया है।

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कोटाधारक कर रहे सहायता, लेकिन नहीं मिला मेहनताना

दिल्ली सरकारी राशन डीलर्स संघ के अनुसार, करीब 2000 कोटाधारक सक्रिय रूप से लोगों को ई-केवाईसी के प्रति जागरूक कर रहे हैं। वे न सिर्फ जानकारी दे रहे हैं, बल्कि जरूरतमंदों की मदद करके अपने स्मार्टफोन से उनका ई-केवाईसी भी करवा रहे हैं।

लेकिन कोटाधारकों ने यह भी बताया कि उन्हें सितंबर 2024 से अब तक उनके मेहनताने का भुगतान (commission payment) नहीं हुआ है। इससे दुकान का किराया, कर्मचारियों का वेतन और निजी खर्च चलाना उनके लिए मुश्किल हो गया है। उन्होंने इस मुद्दे पर कई बार खाद्यमंत्री और विभागीय अधिकारियों को पत्र और ईमेल के जरिए जानकारी दी है, लेकिन कोई समाधान नहीं निकला है।

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