KVS Admission: इन स्टूडेंट्स को केंद्रीय विद्यालय में नहीं मिलेगा एडमिशन, जानें कौन हैं वे

केंद्रीय विद्यालय में एडमिशन के लिए नए नियम जारी! जानिए किन बच्चों को एडमिशन नहीं मिलेगा, चाहे वे योग्य ही क्यों न हों। उम्र सीमा, दस्तावेजों की कमी और अन्य कारण जो आपके बच्चे का भविष्य प्रभावित कर सकते हैं। पूरी जानकारी के लिए पढ़ें

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Written byRohit Kumar

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KVS Admission: इन स्टूडेंट्स को केंद्रीय विद्यालय में नहीं मिलेगा एडमिशन, जानें कौन हैं वे
KVS Admission: इन स्टूडेंट्स को केंद्रीय विद्यालय में नहीं मिलेगा एडमिशन, जानें कौन हैं वे

नई दिल्ली: केंद्रीय विद्यालय संगठन (KVS) ने केंद्रीय विद्यालय में एडमिशन (KVS Admission 2025) को लेकर दिशानिर्देश जारी कर दिए हैं। केंद्रीय विद्यालय में बालवाटिका और कक्षा 1 (Class 1) के लिए एडमिशन प्रक्रिया शुरू हो गई है। इसके लिए ऑनलाइन मोड में आवेदन करना अनिवार्य है। केवीएस एडमिशन 2025 गाइडलाइंस केंद्रीय विद्यालय संगठन की आधिकारिक वेबसाइट kvsangathan.nic.in पर उपलब्ध है।

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केंद्रीय विद्यालय में एडमिशन के लिए कुछ निश्चित पात्रता मानदंड और प्राथमिकता श्रेणियां तय की गई हैं। यदि कोई बच्चा इन मानदंडों को पूरा नहीं करता है तो उसे एडमिशन नहीं मिलेगा। आइए जानते हैं किन वजहों से केंद्रीय विद्यालय में एडमिशन नहीं मिल सकता है।

आयु सीमा का उल्लंघन

कक्षा 1 में प्रवेश के लिए बच्चे की आयु 31 मार्च तक 6 वर्ष होनी चाहिए। न्यूनतम आयु 5 वर्ष और अधिकतम 7 वर्ष तय की गई है। यदि बच्चा इस आयु सीमा से कम या ज्यादा है तो उसका एडमिशन संभव नहीं होगा। हालांकि, दिव्यांग बच्चों के लिए आयु सीमा में 2 वर्ष की छूट दी जा सकती है। अन्य कक्षाओं के लिए भी आयु सीमा निर्धारित है और उससे बाहर होने पर प्रवेश नहीं दिया जाएगा।

प्राथमिकता श्रेणियों का पालन न करना

केंद्रीय विद्यालय में एडमिशन के लिए प्राथमिकता श्रेणियां तय की गई हैं। इन श्रेणियों के अनुसार:

  • श्रेणी 1: केंद्रीय सरकार के स्थानांतरणीय कर्मचारियों के बच्चे।
  • श्रेणी 2: स्वायत्त निकायों/सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों में कार्यरत केंद्रीय सरकार के कर्मचारियों के बच्चे।
  • श्रेणी 3: राज्य सरकार के स्थानांतरणीय कर्मचारियों के बच्चे।
  • श्रेणी 4: राज्य सरकार के स्वायत्त निकायों/उपक्रमों के कर्मचारियों के बच्चे।
  • श्रेणी 5: अन्य (निजी क्षेत्र में काम करने वाले या स्व-नियोजित लोगों के बच्चे)।

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यदि कोई बच्चा इन श्रेणियों में शामिल नहीं है और सीटें भर जाती हैं, तो उसका एडमिशन संभव नहीं होगा। आमतौर पर श्रेणी 1 को सबसे अधिक प्राथमिकता दी जाती है, जबकि श्रेणी 5 के बच्चों को केवल सीटें खाली रहने पर ही एडमिशन मिलता है।

सीटों की अनुपलब्धता

केंद्रीय विद्यालय में प्रत्येक कक्षा में सीटों की संख्या सीमित होती है। आमतौर पर प्रत्येक सेक्शन में 40 सीटें निर्धारित होती हैं। यदि सभी सीटें प्राथमिकता वाले बच्चों से भर जाती हैं, तो अन्य आवेदकों को एडमिशन नहीं मिलेगा, भले ही वे पात्र हों।

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आवश्यक दस्तावेजों की कमी

केंद्रीय विद्यालय में एडमिशन के लिए आवश्यक दस्तावेजों की पूर्ति अनिवार्य है। इनमें जन्म प्रमाण पत्र, निवास प्रमाण पत्र, माता-पिता की सेवा से संबंधित प्रमाण पत्र (Service Certificate) जैसे महत्वपूर्ण दस्तावेज शामिल हैं। यदि कोई आवेदक ये दस्तावेज प्रस्तुत करने में असफल होता है तो उसका आवेदन रद्द हो सकता है।

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निजी क्षेत्र या गैर-सरकारी कर्मचारियों के बच्चों को कम प्राथमिकता

केंद्रीय विद्यालय मुख्य रूप से सरकारी कर्मचारियों के बच्चों के लिए बनाए गए हैं। यदि माता-पिता निजी क्षेत्र में काम करते हैं या स्व-नियोजित हैं तो उनके बच्चों को श्रेणी 5 में रखा जाता है। इन बच्चों को तभी प्रवेश मिलेगा जब सीटें खाली हों, जो आमतौर पर संभव नहीं होता।

RTE नियमों का पालन न करना

कक्षा 1 में प्रवेश के लिए केंद्रीय विद्यालयों में 25% सीटें आरटीई (Right to Education) के तहत आरक्षित होती हैं। ये सीटें SC/ST/EWS/BPL/OBC-NCL और आसपास के निवासियों के लिए निर्धारित हैं। यदि कोई बच्चा इन श्रेणियों में नहीं आता और सामान्य श्रेणी की सीटें उपलब्ध नहीं हैं, तो उसका एडमिशन संभव नहीं होगा।

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कक्षा 9 और 11 में प्रवेश परीक्षा में असफल होना

केंद्रीय विद्यालय में कक्षा 9 और 11 में प्रवेश के लिए परीक्षा आयोजित की जाती है। यदि बच्चा इस प्रवेश परीक्षा में सफल नहीं होता या कक्षा 10 के अंकों के आधार पर मेरिट लिस्ट में स्थान नहीं बना पाता है (कक्षा 11 के लिए), तो उसे प्रवेश नहीं मिलेगा।

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