
स्मार्टफोन सुरक्षा को लेकर Google ने एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। अब यदि आपका फोन चोरी होता है तो Google का नया Anti-Theft फीचर एक्टिवेट होते ही तेजी से अलार्म बजाना शुरू कर देगा। यह फीचर न केवल आपके डिवाइस की लोकेशन ट्रैक करने में मदद करता है, बल्कि चोर के लिए फोन को तुरंत उपयोग करना लगभग असंभव बना देता है। Google Anti-Theft फीचर की सबसे खास बात यह है कि यह खुद-ब-खुद एक्टिवेट हो जाता है जब फोन के साथ कोई असामान्य गतिविधि होती है, जैसे अचानक पॉकेट से खींचा जाना या गिराया जाना।
कैसे काम करता है Google Anti-Theft फीचर?
Google का यह एंटी थेफ्ट फीचर स्मार्टफोन में लगे सेंसर की मदद से काम करता है। इसमें एक्सेलेरोमीटर, जायरास्कोप और अन्य सेंसर फोन की हर मूवमेंट को ट्रैक करते हैं। जैसे ही कोई संदिग्ध गतिविधि होती है — जैसे फोन को तेजी से पॉकेट से खींचा जाना या अचानक गिरना — वैसे ही यह फीचर अलार्म को एक्टिवेट कर देता है।
यह अलार्म काफी तेज होता है और इसे बिना स्क्रीन अनलॉक किए बंद नहीं किया जा सकता। इससे चोर को फोन लेकर भागने में मुश्किल होती है और आसपास मौजूद लोग तुरंत सतर्क हो जाते हैं।
फोन की सुरक्षा में क्रांतिकारी बदलाव
साइबर सिक्योरिटी और मोबाइल थेफ्ट की बढ़ती घटनाओं के बीच यह फीचर एक राहत की खबर है। अब तक अधिकतर यूजर्स फोन चोरी हो जाने के बाद ‘Find My Device’ जैसे फीचर पर निर्भर रहते थे, जिसमें यूजर को खुद लॉगइन कर ट्रैक करना होता था। लेकिन Google Anti Theft फीचर खुद सक्रिय होकर फोन को सुरक्षित रखने की दिशा में एक proactive कदम है।
कैसे करें इस फीचर को इनेबल?
इस फीचर को यूज करना बेहद आसान है। Google ने इसे अपने Android ऑपरेटिंग सिस्टम में एक अपडेट के ज़रिए शामिल किया है। वर्तमान में यह फीचर कुछ चुनिंदा स्मार्टफोन्स में उपलब्ध है लेकिन आने वाले समय में यह सभी Android 10 और उससे ऊपर के वर्जन वाले स्मार्टफोन्स के लिए रोल आउट किया जाएगा।
इसे इनेबल करने के लिए यूजर को अपने Google अकाउंट से लॉगइन करना होगा और सेटिंग्स में जाकर ‘Security’ सेक्शन में ‘Anti Theft Protection’ को ऑन करना होगा। कुछ डिवाइसेज में यह ‘Find My Device’ के अंदर ही उपलब्ध हो सकता है। एक बार एक्टिवेट होने के बाद यह फीचर बैकग्राउंड में लगातार एक्टिव रहेगा और किसी भी संदिग्ध गतिविधि पर तुरंत रिएक्ट करेगा।
क्या यह फीचर ऑफलाइन में भी काम करता है?
यह एक बेहद महत्वपूर्ण सवाल है और इसका जवाब हां है। Google Anti Theft फीचर को इस तरह डिजाइन किया गया है कि यह इंटरनेट कनेक्शन न होने की स्थिति में भी काम करता है। यानी यदि चोर तुरंत फोन को फ्लाइट मोड में डाल देता है या सिम कार्ड निकाल देता है, तो भी अलार्म बजता रहेगा और फोन लॉक रहेगा।
यूजर को मिलेगी और भी सुविधा
इस फीचर के साथ Google यूजर्स को कई अन्य सिक्योरिटी टूल्स भी दे रहा है जैसे – रिमोट लॉक, डिवाइस वाइप और लोकेशन ट्रैकिंग। इसके अलावा यदि फोन का डाटा डिलीट कर दिया गया है, तब भी यूजर अपने Google अकाउंट से उस डिवाइस में फिर से लॉगइन कर सकता है और उस पर नियंत्रण पा सकता है।
भविष्य में यह तकनीक क्या बदलाव ला सकती है?
इस फीचर के लॉन्च के बाद मोबाइल थेफ्ट के मामलों में कमी आने की उम्मीद है। चोर को यह डर बना रहेगा कि जैसे ही उसने फोन चुराया, तुरंत अलार्म बजने लगेगा और वह पकड़ा जा सकता है। साथ ही इससे स्मार्टफोन निर्माता कंपनियां भी और अधिक सिक्योरिटी फीचर्स पर फोकस करेंगी।
इसके अलावा यह फीचर भारत जैसे देशों में और अधिक उपयोगी सिद्ध हो सकता है, जहां हर दिन हजारों फोन चोरी होते हैं। Data Privacy, Smartphone Security और Digital India के युग में यह Google की ओर से एक बड़ा और उपयोगी कदम माना जा सकता है।
जल्द ही अन्य डिवाइसेज में भी आएगा सपोर्ट
Google ने संकेत दिया है कि यह फीचर भविष्य में टैबलेट्स और स्मार्टवॉच जैसे अन्य डिवाइसेज के लिए भी उपलब्ध कराया जाएगा। साथ ही AI और Machine Learning की मदद से इसे और अधिक सटीक और इंटेलिजेंट बनाने की योजना भी है।