सोलर पैनल से जुड़े टैक्स और बेनिफिट
सोलर पैनल की उच्च कार्य प्रदर्शन क्षमता एवं दक्षता के कारण इनका प्रयोग अधिक से अधिक मात्रा में किया जा रहा है, सोलर पैनल के प्रयोग से पर्यावरण को भी स्वच्छ एवं सुरक्षित रखा जा सकता है। सोलर एनर्जी के प्रयोग से बिजली की जरूरतों को आसानी से पूरा कर सकते हैं, सरकार द्वारा भी सब्सिडी योजनाओं के माध्यम से नागरिकों को सोलर पैनल लगाने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। सोलर पैनल में टैक्स और बेनिफिट की जानकारी देखें।
सोलर एनर्जी से जुड़े मुख्य फायदे
- सोलर प्रोजेक्ट में लगे सेल में टैक्स की छूट मिलती है, ऐसे में पैनल की कीमत कम होती है।
- सोलर सिस्टम में प्रयोग होने वाले सोलर पैनल की बाजार कीमत कम हो जाती है।
- सोलर पैनल को आयात करने में सोलर पैनल पर कुछ कस्टम ड्यूटी नहीं लगेगी।
- सोलर प्लांट को लगाने पर शुरू के १० साल में प्रोजेक्ट पर इनकम टैक्स नहीं लगता है।
- सोलर पैनल के प्रयोग से प्रथम वर्ष में आप इनकी कीमत का 40% तक वापस प्राप्त कर सकते हैं।
- सोलर पैनल से बनने वाली अतिरिक्त बिजली को ग्रिड को बेच कर आप बढ़िया लाभ प्राप्त कर सकते हैं।
- आवासीय एवं व्यवसायिक दोनों ही क्षेत्रों में नेट-मीटरिंग कर आप बढ़िया लाभ प्राप्त कर सकते हैं।
- नेट मीटरिंग से आवासीय एवं व्यवसायिक दोनो हो ही लाभ होगा।
- सोलर सिस्टम में बैटरी जोड़ कर आप पावर बैकअप को रख सकते हैं।
सोलर रूफटॉप प्रोजेक्ट्स में पहल
सरकार द्वारा नागरिकों को सौर ऊर्जा का प्रयोग करने के लिए सोलर पैनल लगाने के लिए सोलर पैनल लगाने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। सरकार द्वारा इसके लिए पीएम सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना को शुरू किया गया है, इस योजना के माध्यम से देश के 1 करोड़ घरों पर सोलर पैनल लगाए जाएंगे, जिसके लिए सरकार नागरिकों को 1 किलोवाट से 10 किलोवाट तक के सोलर सिस्टम को ऑनग्रिड लगाने के लिए सब्सिडी प्रदान कर रही है।
सोलर पैनल को कम कीमत में खरीद कर बिजली को ग्रिड के साथ शेयर करने वाले नागरिक डिस्कॉम के साथ अतिरिक्त बिजली को बेच कर आर्थिक लाभ भी प्राप्त कर सकते हैं. इसमें उच्च दक्षता के सोलर पैनल लगाए जाते हैं, नागरिक अपनी जमीन पर सोलर प्लांट भी लगा सकते हैं।
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भारत में सोलर एनर्जी का भविष्य
भारत में तेजी से सोलर एनर्जी का प्रयोग बढ़ रहा है, आने वाले कुछ सालों में भारत विश्व में सबसे बड़ा सौर ऊर्जा का उत्पादक देश बन सकता है, सोलर एनर्जी के प्रयोग से कार्बन फुट प्रिंट को काम किया जा सकता है, सरकार देश में सोलर एनर्जी के अनेक प्रोजेक्ट को संचालित कर रही है, इस समय पर 1 गीगावॉट कैपेसिटी से बढ़कर देश की सोलर पावर कैपेसिटी 44.3 गीगावॉट हो चुकी है।